सतीश मैथिल सांचेत रायसेन। (IND28 हर खबर पर पैनी नज़र)

कस्बा सांचेत में शनिवार को हुई जोरदार बारिश से किसानों के चेहरे में मुस्कान आई। रुक रुककर किसान लगा रहे हैं धान। ट्यूबवेल से दो दो गड़े भरकर दो दो गड़े में धान लगाई जा रही है। बारिश से किसानों के चेहरे खिले, धान की रोपाई हुई शुरू।

शनिवार दोपहर तीन बजे से हुई बारिश से जहां किसानों के चेहरे खिले तो वहीं आमजनों ने भी राहत की सांस ली। मानसून की देरी के कारण धान की फसल बोने वाले किसान चिता में बैठे थे।किसान प्रेम सिंह पटेल ने बताया तेज गर्मी के कारण रायसेन तहसील क्षेत्र में जलस्त्रोत जल स्त्रोत भी नीचे जाने लगा था। इसके बाद से ही किसान मानसून की बारिश पर निर्भर बने हुए थे। बारिश को लेकर जहां जून की शुरुआत अच्छी नहीं रही। वहीं शनिवार की रात से शुरू हुई बारिश ने किसानों को राहत दी। गर्मी और उमस से परेशान लोगों ने राहत महसूस की है। गुरुवार को भी सुबह से ही बादल बने हुए हैं और रुक-रुक कर बूंदाबांदी हो रही है। जिले में किसान धान धान की पौध लगा चुके थे। बारिश होने से अब अपने खेतों में रोपाई करने में जुट गए हैं किसान बलवंत सिंह भदोरिया ने बताया जो किसान धान की पौध नहीं लगा पाए थे, उन्होंने धान की पौध लगानी शुरू कर दी है।इस समय लोगों द्वारा धान की पौध को डाला गया और भीषण गर्मी के चलते धान की पौध पीली पड़ रही थी। जुलाई माह में धान का रोपा 30 से 45 दिन तक होने के बाद खेतों में धान की रोपाई की जाएगी। काफी दिनों से यहां बारिश न होने से किसान परेशान थे। किसान डॉ विजय सराठे ने बताया धान और गन्ने की फसल के लिए तो यह बारिश वरदान साबित हो रही है। जिले में बड़े पैमाने पर पौधरोपण का अभियान भी चल रहा है। कुछ किसान बागवानी में भी लगे हुए हैं। इनके लिए यह बारिश अमृत के रूप में काम कर रही है। ज्वार-बाजरा की खेती करने वाले किसानों के लिए यह बारिश का पानी फायदेमंद साबित हो रहा है

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