सरार पंचायत के कोलीखेड़ा गांव में दलदल बना स्कूल पहुंच मार्ग, छात्र-छात्राओं को भारी परेशानी
-12 महीने भरा रहता है शासकीय स्कूल के रास्ते में गंदा पानी
-कई बार शिकायत के बाद भी नही हुई सुनवाई
अदनान खान सलामतपुर रायसेन। (एडिटर इन चीफ IND28 हर खबर पर पैनी नज़र)
आजादी के 75 साल बीत जाने के बाद भी नौनिहालों को स्कूल तक का सफर कीचड़ और गंदगी भरे रास्ते को पार करके जाना पड़े, तो सरकारी सिस्टम पर यकीनन गुस्सा आता है। लेकिन उससे भी ज्यादा तरस उन बच्चों पर आता है, जो रोजाना डरते सहमते हुए स्कूल तक पहुुंचते हैं। एक तरफ राज्य और केंद्र सरकार स्कूल चले अभियान के लिए करोड़ों रुपये खर्च कर रही है, वहीं दूसरी ओर सांची जनपद की सरार पंचायत के कोलीखेड़ा गांव में शासकीय प्राथमिक स्कूल के बच्चों को कीचड़ और गंदगी के बीच से रोजाना स्कूल जाना उनकी मजबूरी बना हुआ है।वहीं ग्रामीणों ने बताया कि इसी मार्ग पर एक मंदिर भी स्थित है, जिससे भक्तों और बच्चों को आने-जाने में काफी परेशानी होती है। गांव का स्कूल पहुंच मार्ग कच्चा होने के कारण दलदल में तब्दील हो गया है, जिससे बच्चों का स्कूल पहुंचना एक चुनौती बन गया है। सांची जनपद क्षेत्र के गांवों में सरकारी स्कूल के रास्ते पर कीचड़ और गंदगी पसरी हुई है, जिससे स्कूल आने वाले बच्चे परेशान है। जबकि जिम्मेदार स्कूल प्रबंधन न परिसर की सफाई करा रहा है और न ही संबंधित ग्राम पंचायतें इन रास्तों को ठीक कराने पर ध्यान दे रही है। परिणामस्वरूप बच्चों की समस्या का समाधान नहीं हो पा रहा है। ग्रामीणों ने कई बार इस समस्या को लेकर अधिकारियों से शिकायत की, लेकिन अभी तक कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है। बच्चों के अभिभावकों का कहना है कि मार्ग की खराब स्थिति के कारण बच्चों की पढ़ाई भी प्रभावित हो रही है।ग्रामीणों ने शासन-प्रशासन से इस मार्ग को जल्द से जल्द पक्का कराने एवं नाली निर्माण की मांग की है, ताकि बच्चों और ग्रामीणों को इस परेशानी से निजात मिल सके।
12 महीने भरा रहता है स्कूल के रास्ते में गंदा पानी--- गांव में शासकीय प्राथमिक शाला का रास्ता इन दिनों दलदल में तब्दील हो गया है। और कई जगह रास्ते में गोबर कचरा के ढेर लगा दिए हैं। वहीं स्कूल के रास्ते में पानी सड़क पर 12 महीने भरा रहता है। जिससे स्कूल के रास्ते में कीचड़ से होकर बच्चे निकलने को मजबूर हैं। जिससे गंदगी फैल रही है। इस गंदगी की वजह से यहां दिनभर दुर्गंध उड़ती रहती है। गंदगी की वजह से जहां बच्चे खेल भी नहीं पा रहे हैं। इस गंदगी से स्कूल परिसर क्षेत्र में मच्छर पनप रहे हैं, जिससे बच्चों के बीमार होने का भी खतरा बढ़ गया है।
कई बार की शिकायत नही हुई सुनवाई---बताया जा रहा है कि स्कूल के शिक्षकों सहित ग्रामीणों ने इस बात की शिकायत की थी। लेकिन सुनवाई न होने के बाद उन्होंने भी आगे कोई कार्रवाई नहीं की। इधर स्कूल के रास्ते पर कीचड़ दलदल होने की वजह से बच्चे परेशान हैं। दलदल की वजह से स्कूल पहुंच मार्ग की हालत बहुत खराब हो गई है। कई बच्चों ने तो इसी कीचड़ और गंदगी की वजह से स्कूल आना ही छोड़ दिया है। इस तरह के हालात जिम्मेदारों की अनदेखी के चलते बने हुए हैं। वहीं स्कूल के शिक्षक सहित बच्चों के परिजनों ने शासन प्रशासन से व्यवस्थाओं को सुधारने की मांग की है।
इनका कहना है।
स्कूल के रास्ते पर 12 महीने पानी भरा रहता है। जिसकी वजह से कीचड़ और दलदल हो रही है। बच्चे घर से नहा धोकर तैयार होकर निकलते हैं। लेकिन कीचड़ की वजह से पूरे कपड़े खराब हो जाते हैं। पूरे रास्ते की सफाई कर पक्का मार्ग निर्माण होना चाहिए।
गोविंद पंथी, स्थानीय रहवासी।
स्कूल के रास्ते में अधिक समय से पानी भरा होने के कारण मच्छरों की भरमार हो रही है। और बीमारी भी फेल रही है। कई बार शिकायत की लेकिन समस्या का कोई समाधान नही हो रहा है।
संजय पंथी, स्थानीय ग्रामीण।
हमारे स्कूल के रास्ते में गंदा पानी भरा रहता है जो कीचड़ में तब्दील हो चुका है। हम सभी छात्र-छात्राएं स्कूल जाने के लिए इसी रास्ते का उपयोग करते हैं। पूरे रास्ते पर कीचड़ दलदल हो रही है। सभी बच्चों को स्कूल आते समय जूते चप्पल हाथ में लेकर आना पड़ता है। कई बार हम लोग कीचड़ में गिर भी जाते हैं। शिकायत के बाद भी ज़िम्मेदार ध्यान नही दे रहे हैं।
वरुण पंथी, स्कूल छात्र।